रूथ माल्तो
राज्य : झारखंड
जिला: पाकुर
ब्लॉक : हिरणपुर
गाँव : : हिरणपुर
स्वयं सहायता समूह : उजाला आजीविका सखी मंडल
आजीविका गतिविधियाँ : उद्यमी
लखपति दीदी की यात्रा
गरीब समुदाय से ताल्लुक रखने वाली रूथ माल्तो का दूसरे राज्य में प्रवासी मजदूर से आत्मनिर्भर उद्यमी बनने का सफर वाकई प्रेरणादायक है। पाकुड़ जिले के हिरणपुर प्रखंड की रहने वाली रूथ को अपने काम और सखी मंडल के बीच संतुलन बनाने में चुनौतियों का सामना करना पड़ता था। कोविड-19 ने उनके राज्य से बाहर मजदूरी के काम पर रोक लगा दी थी। उस महत्वपूर्ण समय में उन्हें अपने स्वयं सहायता समूह उजाला आजीविका सखी मंडल से सहयोग मिला और उन्होंने बकरी पालन शुरू किया। इससे उन्हें अपने ही गांव में आजीविका कमाने में मदद मिली। बाद में अपनी आय बढ़ाने के लिए उन्होंने सखी मंडल से 80 हजार रुपये का कर्ज लिया और अपनी बचत से 50 हजार रुपये का निवेश कर टोटो खरीदा। इस रणनीतिक कदम ने रूथ और उनके पति के संयुक्त प्रयास से उनके परिवार की समृद्धि को पुनर्जीवित कर दिया । रूथ की कहानी अनुकूलनशीलता और अपने समुदाय में अवसरों के परिवर्तनकारी प्रभाव का प्रतीक है।